56 भोग के साथ बालक राम पहनेंगे रेशम की राखी।
अयोध्या।
देश के हर कोने में आगामी त्योहार रक्षाबंधन की धूम है वही धूम अयोध्या जिले में भी है, रक्षाबंधन का पर्व प्रत्येक वर्ष सावन माह की पूर्णिमा तिथि को मनाया जाता है, इस दिन बहने अपने भाई की कलाई में राखी बांधती है और भाई उस राखी के बदले बहन की रक्षा का वचन देता है। वहीं, अयोध्या श्रीरामनगरी में भगवान बालक श्रीराम के लिए भी पूरे देश की बहने अलग-अलग माध्यम से राखी भेज रही हैं, इसी कड़ी में आज अयोध्या के श्रृंगी ऋषि आश्रम से प्रभु राम के लिए राखी आया है और यह राखी बालक राम के चारों भाइयों समेत उनकी पत्नियों के लिए भी आया है।
इस राखी का निर्माण श्रृंगी ऋषि आश्रम के आसपास रहने वाली महिलाओं ने तैयार किया है, लगभग 20 दिन में इस राखी को तैयार किया गया है, राखी की खास बात यह है कि यह राखी रेशम के धागों से बनाई गई है, इसके ऊपर मोती लगाया गया है, राखी के साथ-साथ प्रभु राम के लिए 56 व्यंजनों का भोग और बांसुरी भी आया है, जिसे रक्षाबंधन के मौके पर बालक राम को धारण भी कराया जाएगा।
धार्मिक ग्रंथो के मुताबिक प्रभु राम की बहन शांता थी और श्रृंगी ऋषि आश्रम में शांता का मंदिर है, त्रेता युग में जिस तरह प्रभु राम की बहन शांता ने अपने चारों भाइयों को राखी बांधा करती थी, आज जब भव्य मंदिर में बालक राम विराजमान हो चुके हैं, तो शांता के मंदिर से बालक राम समेत चारों भाइयों के लिए राखी राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास को समर्पित की गई है।